वर्चुअल वैश्विक कौशल शिखर बैठक (VGSS)
हाल ही में दस देशों में स्थित भारतीय दूतावासों के साथ पहली वर्चुअल वैश्विक कौशल शिखर बैठक (VGSS) आयोजित की गई है।
- यह बैठक शिक्षा, विदेश, वाणिज्य व उद्योग तथा कौशल विकास मंत्रालयों ने संयुक्त रूप से आयोजित की है। इसे भारत के कुशल कार्यबल के लिए विदेशों में रोजगार प्राप्ति को सुगम बनाने हेतु आयोजित किया गया है।
- शिखर बैठक का उद्देश्य दूसरे देशों की कौशल आवश्यकताओं और भारत में कौशल उपलब्धता पर सूचना के आदान-प्रदान के लिए एक मजबूत तंत्र को संस्थागत रूप देना था।
- सरकार का लक्ष्य भारत को कुशल कार्यबल के एक पसंदीदा वैश्विक केंद्र के रूप में स्थापित करना और भारत को दुनिया की ‘कौशल राजधानी’ बनाना है।
- यह प्रधान मंत्री की 3T रणनीति के अनुरूप है, जो व्यापार (Trade), पर्यटन (Tourism) और प्रौद्योगिकी (Technology) पर बल देती है।
भारत के लिए अवसर / लाभ–
- भारत की लगभग 54% जनसंख्या 25 वर्ष से अधिक आयु की है। गिग इकॉनमी का उदय हुआ है।
- इसके अलावा लचीली कार्य प्रणालियों की मांग बढ़ी है, और कौशल विकास पर अधिक बल दिया जा रहा है। साथ ही, STEM (विज्ञान, प्रौद्योगिकी, इंजीनियरिंग और गणित) का मजबूत मूल कौशल भी भारतीयों में मौजूद है। दुनिया भर में वृद्ध आबादी में वृद्धि से कुशल कार्यबल की अधिक मांग पैदा होगी।
भारत के समक्ष मौजूद चुनौतियां:
- कौशल विकास के लिए बुनियादी सुविधाओं की कमी है,
- गैर-तकनीकी कौशल पर कम ध्यान केंद्रित किया जाता है,
- उद्योग विशेष रोजगार की प्रकृति और आवश्यकताओं के बारे में जागरूकता की कमी है,
- गैर-तकनीकी कौशल पर कम ध्यान केंद्रित किया जाता है,
- उद्योग विशेष रोजगार की प्रकृति और आवश्यकताओं के बारे में जागरूकता की कमी है,
- उच्चतर कौशल की मांग और उपलब्धता में अंतर मौजूद है आदि ।
वैश्विक सहयोग के लिए उठाए गए कदम–
- भारत अंतर्राष्ट्रीय कौशल केंद्र (IISC ): यह भारतीयों के लिए अंतर्राष्ट्रीय कार्यबल में शामिल होने के अवसरों को सुविधाजनक बनाने वाला एक नोडल मंच है।
- राष्ट्रीय कौशल विकास निगम (NSDC) ने NSDC इंटरनेशनल स्थापित किया है। यह 100% शेयरधारिता वाली सहायक कंपनी है। यह विशेष कार्यक्रमों के माध्यम से विदेशों में रोजगार के लिए राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय भागीदारी के संचालन में भूमिका निभाती है।
- स्किल इंडिया इंटरनेशनल प्रोजेक्ट : यह भारतीयों के कौशल विकास, प्रमाणन और विदेशों में रोजगार प्राप्ति पर लक्षित है।
- कई देशों के साथ साझेदारी स्थापित की गई है। इनमें जापान (विशेष कुशल श्रमिक भागीदारी), सिंगापुर (ट्रेनर -असेसर अकादमिया), यूके इंडिया एजुकेशन एंड रिसर्च इनिशिएटिव (UKIERI) आदि जैसी प्रमुख साझेदारियां हैं।
स्रोत – द हिन्दू