लेजर इंटरफेरोमीटर ग्रेविटेशनल – वेव ऑब्जर्वेटरी – इंडिया (LIGO – India)
हाल ही में प्रधान मंत्री ने लेजर इंटरफेरोमीटर ग्रेविटेशनल-वेव ऑब्जर्वेटरी-इंडिया (LIGO – India) की आधारशिला रखी है।
लिगो-इंडिया का निर्माण महाराष्ट्र के हिंगोली जिले में किया जा रहा है । लिगो-इंडिया एक योजनाबद्ध उन्नत गुरुत्वाकर्षण तरंग वेधशाला है। यह ऐसी वेधशालाओं के विश्वव्यापी नेटवर्क के हिस्से के रूप में भारत में स्थित होगी ।
उत्पत्ति: इस परियोजना को “सैद्धांतिक रूप से 2016 में अनुमोदित किया गया था। इसे 2030 तक पूरा किए जाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।
वित्त पोषण: परमाणु ऊर्जा विभाग (DAE ) तथा विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग (DST) ।
लिगो की कार्य-प्रणाली –
- इस वेधशाला में 4 किलोमीटर लंबे दो निर्वात (vacuum) कक्ष शामिल हैं। इन्हें एक दूसरे के लंबवत बनाया जाता है।
- निर्वात कक्षों के अंत में अत्यधिक परावर्तक दर्पण स्थापित किए जाते हैं ।
- दोनों निर्वात कक्षों में एक साथ प्रकाश किरणें निर्मुक्त की जाती हैं ।
- सामान्य परिस्थितियों में, दोनों कक्षों से प्रकाश किरणें एक साथ वापस आती हैं। यहां दोनों किरणों के अवस्थिति कोण में अंतर (phase difference) की उपस्थिति एक गुरुत्वाकर्षण तरंग की मौजूदगी को दर्शाती है।
स्रोत – पी.आई.बी.