भारत और डेनमार्क हरित रणनीतिक साझेदारी (GSP)
हाल ही में भारत और डेनमार्क ने हरित ऊर्जा को अपनाने के महत्वाकांक्षी लक्ष्य को प्राप्त करने में विश्व का नेतृत्व करने की आकांक्षा व्यक्त की है। इस आकांक्षा को हरित रणनीतिक साझेदारी के माध्यम से पूरा करने की पुष्टि की गई है।
दोनों पक्षों ने भारत और डेनमार्क में व्यापक ऊर्जा नीति वार्ता पर हुए कार्यों का भी स्वागत किया।
हरित रणनीतिक साझेदारी (GSP) की स्थापना वर्ष 2020 में की गयी थी। यह हरित विकास के लिए 5 वर्ष की कार्य योजना है। यह ग्रीन हाइड्रोजन, नवीकरणीय ऊर्जा, चक्रीय अर्थव्यवस्था, जल प्रबंधन आदि पर केंद्रित है।
यह विशेष रूप से पेरिस समझौते और संयुक्त राष्ट्र सतत विकास लक्ष्यों (SDGs) के महत्वाकांक्षी कार्यान्वयन पर केंद्रित है।
भारत–डेनमार्क बैठक के अन्य परिणाम
- “इंडिया ग्रीन फाइनेंस इनिशिएटिव” लॉन्च की गई है। इसके तहत भारत में हरित विकास और रोजगार पैदा करने में तेजी लाने के लिए भारत में हरित परियोजनाओं का वित्तपोषण किया जायेगा।
- भारत “इंटरनेशनल सेंटर फॉर एंटी-माइक्रोबियल रेजिस्टेंस” (ICARS) में मिशन पार्टनर के रूप में शामिल होने पर सहमत हुआ है। ICARS “वन हेल्थ” पर एक अनुसंधान साझेदारी मंच है। यह निम्न और निम्न मध्यम आय वाले देशों में रोगाणुरोधी प्रतिरोध (antimicrobial resistance) से निपटने के लिए संदर्भ-विशिष्ट व लागत प्रभावी समाधानों के विकास एवं कार्यान्वयन का समर्थन करता है।
- डेनमार्क ने ग्लोबल डिजिटल हेल्थ पार्टनरशिप (GDHP) में अपने प्रवेश की पुष्टि की है।
- GDHP सरकारों और राज्यक्षेत्रों, सरकारी एजेंसियों तथा विश्व स्वास्थ्य संगठन की बीच एक सहयोग मंच है। इसे डिजिटल स्वास्थ्य सेवाओं के प्रभावी कार्यान्वयन का समर्थन करने के लिए गठित किया गया है।
- विदित हो कि भारत GDHP का सदस्य है।
स्रोत –द हिन्दू