सामुद्रिक सहायता विधेयक (Marine Aids to Navigation Bill) 2021 पारित
सामुद्रिक सहायता विधेयक (Marine Aids to Navigation Bill) 2021 पारित
हाल ही में संसद द्वारा नौचालन के लिए सामुद्रिक सहायता विधेयक (Marine Aids to Navigation Bill) 2021 पारित किया गया है ।
यह विधेयक ‘प्रकाशस्तम्भ अधिनियम (Lighthouse Act), 1927 को प्रतिस्थापित करके सर्वोत्तम वैश्विक प्रथाओं, तकनीकी विकास और भारत के अंतर्राष्ट्रीय दायित्वों को निम्नलिखित के अंतर्गत शामिल करता है – इंटरनेशनल कन्वेंशनफॉर द सेफ्टी ऑफ लाइफ ऐट सी, 1974, और इंटरनेशनल एसोसिएशन ऑफ मरीन एड्स एंड लाइट हाउस अथॉरिटीज मैरीटाइम बॉयेज सिस्टम।
मुख्य विशेषताएं:
- परस्पर संवादात्मक पोत परिवहन सेवाओं सहित समुद्री नौचालन की अत्याधुनिक तकनीकों के आधार पर नौचालन के लिए एवं पोत पर सहायता को परिभाषित किया गया है।
- नौचालन के लिए सहायता से संबंधित मामलों पर केंद्र सरकार को परामर्श देने हेतु नौचालन के लिए सहायता हेतु महानिदेशक(Director General of Aids to Navigation) और केंद्रीय सलाहकार समिति (Central Advisory Committee) की नियुक्ति की जाएगी।
- वर्तमान में, पत्तन, पोत परिवहन और जलमार्ग मंत्रालय के तहत दीप स्तंभ और दीपपोत महानिदेशालय (Directorate General of Lighthouses and Lightships), समुद्री नौचालन के लिए सहायता प्रदान करता है।
- शैक्षिक, सांस्कृतिक और पर्यटन उद्देश्यों के लिए दीप-स्तंभों के विकास में सहायता करते हुए, नौचालन में सहायक किसी भी दीप-स्तंभ को धरोहर दीप स्तम्भ (Heritage Lighthouse) के रूप में नामित किया जाएगा।
- यह नौचालन में किसी भी प्रकार की सहायता में सोद्देश्य बाधा उत्पन्न करने या क्षति पहुंचाने के लिए किए गए अपराधों हेतु जुर्माना और दंड निर्धारित करता है। नौवहन और पोत यातायात सेवा के लिए किसी भी सहायता के संचालन हेतु प्रशिक्षण एवं प्रमाणन प्रदान किया जाएगा।
प्रकाश स्तंभ :प्रकाश स्तंभों का निर्माण तटवर्ती या समुद्र तल पर समुद्री तटीय नौवहन, नाविकों को जोखिमों की चेतावनी देने, उनकी अवस्थिति की जानकारी लेने और उन्हें उनके गंतव्य तक पहुंचाने में सहायता के लिए किया जाता है।
स्रोत –पीआईबी
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