महासागरों के संरक्षण हेतु ब्लू नेचर एलायंस
आगामी पाच वर्षों में महत्वपूर्ण जलीय क्षेत्रों और महासागरों के संरक्षण को सुनिश्चित करने हेतु ब्लू नेचर एलायंस नामक नई वैश्विक समुद्री पहल शुरू की गई है।
ब्लू नेचर एलायंस पहल विभिन्न परोपकारी संगठनों, राष्ट्रीय सरकारों, स्थानीय समुदायों, स्वदेशी लोगों, वैज्ञानिकों और शिक्षाविदों के सहयोग से शुरू की गई है।
मुख्य तथ्य:
- ब्लू नेचर एलायंस का लक्ष्य पांच वर्षों में विश्व महासागर के 5% क्षेत्र की रक्षा करना है।इसके तहत यह गठबंधन सात महासागर के स्थानों को लक्षित करेगा जिनमे शामिल हैं-अंटार्कटिका,सेशल्स,कनाडा,पलाउ,पश्चिमी हिंद महासागर,फ़िजी,ट्रिस्टन दा कुन्हा और दक्षिण अटलांटिक महासागर में एक द्वीप।
- ‘ब्लू नेचर एलायंस’ अपने संरक्षण कार्य के तहत शुरू में4.8 मिलियन वर्ग किलोमीटर (1.9 मिलियन वर्ग मील) क्षेत्रमें फैले फिजी के लाऊ सीस्केप, अंटार्कटिका के दक्षिणी महासागर और ट्रिस्टन दा कुन्हा द्वीप के तीन समुद्री क्षेत्रों को कवर करेगा ।
- इस पहल का प्राथमिक उद्देश्य जलवायु परिवर्तन से सबसे अधिक प्रभावित होने वाले स्थानीय समुदायों के साथ मिलकर काम करना हैऔर इस तरह यह पहल समुद्री संरक्षण में सहायक होने के साथ-साथ पारिस्थितिकी तंत्र के लचीलापन में वृद्धि कर सकती है।
- पृथ्वी की सतह के दो तिहाई से अधिक हिस्से पर महासागर मानव जीवन को काफी प्रभावित करते हैं और विशेष रूप से तटीय या छोटे द्वीप क्षेत्रों में रहने वाले समुदायों की आजीविका के लिए महत्वपूर्ण हैं। समुद्री संरक्षण एटलस के अनुसार, दुनिया के 7% से अधिक महासागरों को “संरक्षित क्षेत्रों” के रूप में नामित किया गया है। हालांकि, वास्तव में केवल 2.7% “पूरी तरह से संरक्षित” हैं।
समुद्री संरक्षण एटलस(Marine Protection Atlas)
- इसे 2012 में समुद्री संरक्षण संस्थान द्वारा लॉन्च किया गया था। इस एटलस को पूरी दुनिया में समुद्री सुरक्षा पर सर्वोत्तम उपलब्ध जानकारी प्रदान करने के लिए डिज़ाइन किया गया है । यह 2030 तक समुद्री संरक्षण समुदायों को एक साथ काम करने और विश्व महासागर के कम से कम 30% की रक्षा करने में मदद करेगा। यह संरक्षित क्षेत्रों पर विश्व डेटाबेस के आधार पर बनाया गया है।
संरक्षित क्षेत्रों पर विश्व डाटाबेस(World Database on Protected Areas)
- यह स्थलीय और समुद्री संरक्षित क्षेत्रों पर एक डेटाबेस रखता है। यह प्रकृति के संरक्षण के लिए अंतर्राष्ट्रीय संघ(IUCN) और संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम (UNEP) के बीच एक संयुक्त परियोजना है ।
स्रोत – द हिन्दू