जल कृषकों और खरीदारों को जोड़ने हेतु ई सांता पोर्टल

जल कृषकों और खरीदारों को जोड़ने हेतु ई सांता पोर्टल

हाल ही में जल कृषकों और खरीदारों (aqua farmers and buyers) को जोड़ने के उद्देश्य सेएक मंच प्रदान करने के लिए केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय ने इलेक्ट्रॉनिक मार्केटप्लेस ई-सांता (e-SANTA) की शुरुआत की है।

इलेक्ट्रॉनिक मार्केटप्लेस ई-सांता (E-SANTA)

  • ई-सांता(e-SANTA) जल किसानो और उनके खरीदारों के लिएनिर्मित वेबपोर्टलहै , जिसका अर्थ इलेक्ट्रॉनिक सॉल्यूशन फॉर ऑग्मेंटिंग एनएसीएसए फार्मर्स ट्रेड इन एक्वाकल्चर(Electronic Solution for Augmenting NaCSA farmers’ Trade in Aquaculture) है।
  • यह जल कृषकों और खरीदारों को एक मंच पर लाएगा जिससे निर्यातक सीधे किसानों से गुणवत्तापूर्ण उत्पादों को खरीद सकेंगे ।
  • ई-सांता(e-SANTA) पोर्टल का मुख्य उद्देश्य जल किसानों को उनके उत्पादों का बेहतर मूल्य उपलब्ध कराना है। तथा यह पोर्टल कई भाषाओं में भी उपलब्ध है, जो स्थानीय आबादी की मदद करेगा।
  • विदित हो कि नेशनल सेंटर फॉर सस्टेनेबल एक्वाकल्चर (National Centre for Sustainable Aquaculture- NaCSA), भारत सरकार के वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय के तहत समुद्री उत्पाद निर्यात विकास प्राधिकरण (Marine Products Export Development Authority – MPEDA) की एक शाखा है।

महत्त्व:

  • ई-सांता देश के जल कृषकों की आय में वृद्धि, जीवनशैली तथा उत्पादों की गुणवत्ता स्तर में सुधार कर उन्हें आत्मनिर्भर होने का विकल्प प्रदान करेगा।
  • यह पोर्टल मौखिक माध्यम से किए जाने वाले व्यापार के पारंपरिक तरीके को समाप्त कर व्यापार को अधिक औपचारिक एवं कानूनी रूप से बाध्यकारी बना देगा।
  • ई-सांता जलीय कृषकों के जीवन और आय में निम्नलिखित तरीके से वृद्धि करेगा :
  • जोखिम कम करके
  • उत्पादों और बाज़ारों के बारे में जागरूकता प्रदान करके
  • आय में वृद्धि करके
  • अनुचित प्रथाओं के विरुद्ध सुरक्षा प्रदान करके
  • प्रक्रियाओं को सुगम बनाकर
  • यह किसानों एवं खरीदारों को व्यापार पर अधिक नियंत्रण रखने में सक्षम बनाएगा और उन्हें हितकारीनिर्णय लेने में सहायता करेगा।
  • यह किसानों और निर्यातकों के बीच नकदी रहित, संपर्क रहित एवं पेपर रहित तकनीकी व्यापार मंचप्रदान करके पारंपरिक जलीय कृषि में क्रांति लाएगा।
  • ई-सांता सामूहिक रूप से उत्पादों को खरीदने वाले, मछुआरों औरमत्स्य उत्पादक संगठनों को एक साथ लाने का एक माध्यम बन सकता है।
  • यह पोर्टल भविष्य में एक नीलामी मंच भी बन सकता है.क्योंकि यह राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर लोगों को उत्पादों की उपलब्धता के बारे में जानकारी प्राप्त करने का अवसर प्रदान करेगा।
  • ई-सांता बिचौलियों को खत्म करके किसानों एवं खरीदारों के बीच एक वैकल्पिक विपणन उपकरण के रूप में काम करेगा।

स्रोत – पीआईबी

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